हिमाचल प्रदेश में बेरोजगार युवा तरस रहे नौकरी को, बाहरी राज्यों के युवा कब्जा जमा रहे

हिमाचल प्रदेश में मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर की अध्यक्षता में कैबिनेट बैठक में नौकरियों के नियमो को कड़ा करने का फैसला लिया गया है। बताया जा रहा है की बैठक में तृतीय और चतुर्थ श्रेणी के पदों पर अब प्रदेश से बाहर के लोगों को आसानी से नौकरी नहीं मिल सकेगी। प्रदेश में पढ़े-लिखे बेरोजगार युवाओं की संख्या में लगातार बढ़ोतरी हो रही है। वहीं सरकार जो भर्तियां निकाल रही हैं, उनमें भी बाहरी प्रदेशों के युवा कब्जा जमा रहे हैं।
बाहरी राज्यों के लोग हाथ मार रहे नौकरियों पर
मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने प्रदेश में अब तृतीय श्रेणी के पदों के लिए 10वीं-12वीं और चतुर्थ श्रेणी के लिए आठवीं और 10वीं की परीक्षा हिमाचल के स्कूलों से पास करना जरूरी होगा, ये शर्तें हिमाचल के मूल निवासियों पर लागू नहीं होंगी। नौकरी के साथ शिक्षा में भी पड़ोसी राज्यों ने बाहरी प्रदेशों के लिए कोटा तय कर रखा है। पीएचडी, मेडीकल, इंजीनियरिंग सहित सभी पाठ्यक्रमों में बाहरी राज्यों व एनआरआई छात्रों के लिए केवल कुछ फीसदी सीटें ही हैं।
प्रदेश में हमें ही प्राथमिकता नहीं दी जा रही है, जबकि प्रदेश में बेरोजगारों की फौज है। लेकिन फिर भी बाहर के लोग आकर नौकरी पा रहे हैं।